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नींद की कमी से दिमाग को होता है बड़ा नुकसान, स्टडी में सामने आई बात

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वॉशिंगटन , 9 सिंतबर। अगर आप नींद पूरी नहीं करते हैं या ठीक से नहीं सोते हैं तो आप कई बीमारियों के शिकार बन सकते हैं. नींद की कमी भले ही आज आपको कोई बड़ी समस्या न लगे, लेकिन लंबे समय में यह स्वास्थ्य के लिए बहुत ही घातक साबित हो सकती है. हाल में हुई एक स्टडी में इस बात की पुष्टि हुई है कि नींद की कमी आपके दिमाग को भी नुकसान पहुंचा सकती है. अगर लंबे समय तक आप नींद पूरी नहीं करते हैं या नींद की कमी से जूझते हैं तो इसकी वजह से अल्जाइमर (Alzheimer’s) जैसी न्यूरोलॉजिकल समस्या हो सकती है.

शोधकर्ता यह पता लगाने की कोशिश कर रहे हैं कि नींद की कमी से दिमाग को इतना नुकसान कैसे पहुंचता है. यह ताजा स्टडी हाल ही में अमेरिकन केमिकल सोसाइटी के जर्नल ऑफ प्रोटियाम रिसर्च में छपी है. शोधकर्ताओं की टीम ने पाया कि चूहों में नींद की कमी की वजह से एक प्रोटेक्टिव प्रोटीन का स्तर कम हुआ और इसका रिजल्ट तंत्रिकाओं की मौत (Neuronal Death) के रूप में सामने आया.

शोध से संकेत मिलते हैं कि नींद की कमी की वजह से दिमाग के उस हिस्से, जो सीखने और याद करने के लिए जिम्मेदार होता है उसके हिप्पोकैम्पस में न्यूरोलॉजिकल क्षति पहुंचती है. इस प्रभाव के लिए जिम्मेदार परिवर्तनों को और भी बेहतर तरीके से समझने के लिए वैज्ञानिकों ने प्रोटीन और RNA की प्रचुरता में बदलाव की जांच शुरू की, जिसमें डीएनए से मिलने वाले आनुवंशिक रूप से एन्कोडेड निर्देश शामिल हैं.

इस तरह से पिछले अध्ययनों ने नींद की कमी की वजह से दिमाग को होने वाले नुकसान की पहचान की. हालांकि, शोधकर्ताओं ने अभी इसकी पुष्टि नहीं की है कि बड़ी आबादी के संज्ञानात्मक कार्य में नींद की कमी यही भूमिका निभाती है. इसीलिए फूई जू, जिया मी औरउनके सहयोगियों ने आगे की रिसर्च की कि कैसे नींद की कमी दिमाग के नुकसान पहुंचाती है

इसकी जांच के लिए शोधकर्ताओं ने इस बात की जांच की कि दो दिन तक नींद की कमी की वजह से एक चूहा किसी साधारण सी भूलभूलैया में आगे बढ़ता है? और कैसे नई चीजों को याद करता है. इसके बाद उन्होंने चूहे के दिमाग के हिप्पोकैम्पी से प्रोटीन निकाला और जांच की कि किनमें बहुतायत में बदलाव आया. फिर इसकी और पड़ताल करने के लिए उन्होंने प्रोटीन के डाटा की जांच की और चूहे के भूल-भूलैया वाली परफॉर्मेंस से उसका मिलान किया. इसमें उन स्ट्रेन की भी पहचान की गई, जन पर नींद की कमी का असर नहीं पड़ा.

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